Shivraj Patil passes away: पूर्व केंद्रीय गृह मंत्री शिवराज पाटिल को आज सुबह साढ़े छह बजे निधन हो गया है। उन्होंने महाराष्ट्र का लातूर जिले के अपने निजी निवास ‘देवघर’ में अंतिम सांस ली। वे 90 वर्ष के थे।
शिवराज पाटिल का निधन
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व केंद्रीय गृह मंत्री शिवराज पाटिल चाकुरकर का निधन 12 दिसंबर 2025 को सुबह करीब 6:30 बजे महाराष्ट्र के लातूर जिले में उनके निवास ‘देवघर’ पर हो गया। वे 90 वर्ष के थे और लंबे समय से उम्र संबंधी बीमारियों से जूझ रहे थे। उनका इलाज घर पर ही चल रहा था। इस खबर ने राजनीतिक हलकों में शोक की लहर दौड़ा दी है। पीएम मोदी समेत कई प्रमुख नेताओं ने उनके निधन पर गहरा दुख व्यक्त किया है।
Shivraj Patil का जीवन परिचय
शिवराज पाटिल का जन्म 12 अक्टूबर 1935 को महाराष्ट्र के लातूर जिले के चाकुर तहसील में एक किसान परिवार में हुआ था। उन्होंने उस्मानिया विश्वविद्यालय, हैदराबाद से विधि (LLB) की डिग्री प्राप्त की। राजनीति में प्रवेश से पहले वे वकील के रूप में सक्रिय थे।
- 1972 से 1980 तक वे महाराष्ट्र विधानसभा के सदस्य रहे। 1972 में पहली बार विधायक चुने गए।
- 1980 से 2004 तक उन्होंने लातूर लोकसभा सीट से लगातार सात बार (1980, 1984, 1989, 1991, 1996, 1998, 1999) चुनाव जीता। 2004 में वे भाजपा प्रत्याशी से हार गए।
- इंदिरा गांधी और राजीव गांधी के विश्वासपात्र माने जाने वाले पाटिल ने कई महत्वपूर्ण जिम्मेदारियां निभाईं।
शिवराज पाटिल ने इन पदों पर दी सेवाएं
- 1980-1984: रक्षा राज्य मंत्री।
- 1995-1996: लोकसभा स्पीकर (13वीं लोकसभा)
- 2004-2008: यूपीए-1 सरकार में केंद्रीय गृह मंत्री (प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के नेतृत्व में)।
- इसके अलावा, उन्होंने वाणिज्य, जल संसाधन, कोयला और मानव संसाधन विकास जैसे मंत्रालयों में भी काम किया।
- 2010 से 2015 तक वे पंजाब के राज्यपाल और चंडीगढ़ के प्रशासक रहे। इस दौरान उन्होंने राज्य की प्रशासनिक व्यवस्था को मजबूत करने में योगदान दिया।
कांग्रेस के वफादार सिपाही थे पाटिल
पाटिल को कांग्रेस पार्टी का एक वफादार सिपाही माना जाता था। वे इंदिरा गांधी के समय से पार्टी के संगठनात्मक कार्यों में सक्रिय रहे और महाराष्ट्र में कांग्रेस की मजबूती के लिए जाने जाते थे।
Shivraj Patil और विवाद
गृह मंत्री के रूप में 26/11 के हमले के दौरान उनकी भूमिका विवादास्पद रही। हमले में 166 लोगों की मौत हुई थी, और सुरक्षा चूक की जिम्मेदारी लेते हुए उन्होंने नैतिक आधार पर 1 दिसंबर 2008 को पद से इस्तीफा दे दिया।
Shivraj Patil के योगदान
लोकसभा स्पीकर के रूप में उन्होंने संसदीय कार्यवाही को सुचारू रूप से चलाया। रक्षा राज्य मंत्री रहते हुए उन्होंने सेना के आधुनिकीकरण पर जोर दिया।
Shivraj Patil के निधन पर पीएम मोदी ने जताया शोक
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने Shivraj Patil के निधन पर ट्वीट कर कहा, “पूर्व केंद्रीय मंत्री श्री शिवराज पाटिल जी के निधन से दुखी हूं। उनके लंबे सार्वजनिक जीवन ने भारतीय राजनीति को समृद्ध किया। ”
विपक्ष के नेता राहुल गांधी का ट्वीट
राहुल गांधी ने शिवराज पाटिल के देहांत पर शोक जताते हुए लिखा ,”शिवराज पाटिल जी के निधन का समाचार अत्यंत दुखद है। यह पार्टी के लिए अपूरणीय क्षति है। जनसेवा के प्रति उनका समर्पण हमेशा याद रहेगा। ”
रणदीप सिंह सुरजेवाला (कांग्रेस महासचिव)
“वरिष्ठ नेता श्री शिवराज पाटिल जी के निधन से स्तब्ध हूं। उनके प्रति श्रद्धांजलि।” इसके अलावा, महाराष्ट्र उपमुख्यमंत्री अजीत पवार, पूर्व मुख्यमंत्री पृथ्वीराज चव्हाण और कई कांग्रेसी नेताओं ने परिवार के प्रति संवेदना व्यक्त की।
Shivraj Patil का परिवार
Shivraj Patil के परिवार में एक बेटा शैलेश पाटिल, बहू अर्चना पाटिल और दो पोतियां हैं। मार्च 2025 में वे प्रधानमंत्री मोदी से दिल्ली में मिले थे, जहां उनकी बहू अर्चना उनके साथ थीं। परिवार ने निधन की पुष्टि की है। शिवराज पाटिल का निधन भारतीय राजनीति के एक युग का अंत माना जा रहा है। वे एक सादगीपूर्ण और समर्पित नेता के रूप में याद किए जाएंगे।




