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गृह मंत्रालय ने बढ़ाई शुभेंदु अधिकारी के पिता और भाई की सुरक्षा, दोनों को मिली Y+सिक्योरिटी

पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव में सीएम ममता बनर्जी को करारी शिकस्त देने वाले बीजेपी नेता शुभेंदु अधिकारी के भाई और पिता को गृह मंत्रालय ने वाई प्लस सिक्योरिटी दे दी है।

पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव में सीएम ममता बनर्जी को करारी शिकस्त देने वाले बीजेपी नेता शुभेंदु अधिकारी के भाई और पिता को गृह मंत्रालय ने वाई प्लस सिक्योरिटी दे दी है।

पश्चिम बंगाल विधानसभा के चुनावी नतीजे आने के बाद वहां भले ही सरकार भी बन चुकी है। लेकिन सियासी घमासान अभी जारी है। हाल ही में केंद्रीय जांच ब्यूरो ने ममता बनर्जी कैबिनेट के मंत्रियों समेत टीएमसी के चार वरिष्ठ नेताओं को नारदा स्टिंग ऑपरेशन केस में गिरफ्तार कर लिया था। इसके बाद आरोप-प्रत्यारोप का सिलसिला जारी है। बंगाल की सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस पार्टी ने भारतीय जनता पार्टी पर बदले की भावना से काम करने और उनके नेताओं को झूठे केस में फंसाने का आरोप लगाया है। इतना ही नहीं नंदीग्राम में ममता बनर्जी को विधानसभा चुनाव में हराने वाले शुभेंदु अधिकारी पर भी विरोधियों ने इस केस में शामिल होने के आरोप लगाए हैं।

इसी बीच गृह मंत्रालय ने उनके पिता शिशिर अधिकारी और भाई दिव्यांशु अधिकारी की सुरक्षा बढ़ा दी है। केंद्रीय गृह मंत्रालय ने दोनों को वाइ प्लस कैटेगरी की सुरक्षा देने की घोषणा की है। अब केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल के जवान इनकी सुरक्षा करेंगे। बता दें कि पश्चिम बंगाल विधानसभा से पहले शुभेंदु अधिकारी ने टीएमसी से इस्तीफा देकर बीजेपी का दामन थाम लिया था।

इसके अलावा बीजेपी पश्चिम बंगाल विधानसभा से ठीक पहले केंद्रीय गृह मंत्रालय ने शिशिर अधिकारी की सुरक्षा बढ़ाई थी। इसके अलावा बीजेपी में शामिल होने वाले अभिनेता से नेता बने मिथुन चक्रवर्ती भी गृह मंत्रालय की तरफ से सुरक्षा दी गई है । आपको बता दें कि चुनाव से पहले और नतीजे आने के बाद बंगाल में हिंसक झड़पें लगातार हो रही हैं। इसमें दोनों ही पार्टियों के कई कार्यकर्ताओं की मौत हो चुकी है। हाल ही एक में केंद्रीय मंत्री के काफिले पर हमला कर दिया था। बीजेपी ने टीएमसी पर हमले का आरोप लगाया था।

आपको बता दें पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव में टीएमसी ने 213 सीटों पर प्रचंड जीत हासिल की और सरकार बनाई। वही इस चुनाव में भारतीय जनता पार्टी  मुख्य विपक्षी पार्टी बनकर उभरी है। कांग्रेस और लेफ्ट गठबंधन का खाता भी नहीं खुल पाया है।

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