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टिकरी बॉर्डर किसान आंदोलन: रेप पीड़िता के पिता ने पुलिस पर लगाए गंभीर आरोप

देश में चल रहे किसान आंदोलन में एक के बाद एक नए ट्विस्ट आ रहे हैं। टिकरी बॉर्डर पर किसान आंदोलन में बंगाल से शामिल होने आई लड़की से गैंगरेप के मामले में पीड़िता के पिता ने अब पुलिस पर ही सवाल खड़े कर दिए हैं।

देश में चल रहे किसान आंदोलन में एक के बाद एक नए ट्विस्ट आ रहे हैं। टिकरी बॉर्डर पर किसान आंदोलन में बंगाल से शामिल होने आई लड़की से गैंगरेप के मामले में पीड़िता के पिता ने अब पुलिस पर ही सवाल खड़े कर दिए हैं।

टिकरी बॉर्डर गैंगरेप केस

वेस्ट बंगाल से दिल्ली के टिकरी बॉर्डर पर किसान आंदोलन में शामिल होने आई लड़की से गैंगरेप मामले में हर दिन नए मोड़ आ रहे हैं। एक तरफ जहां पुलिस इस मामले में कई बड़े किसान नेताओं से पूछताछ की तैयारी कर रही है। तो दूसरी तरफ पीड़िता के पिता ने इस मामले में पुलिस के रवैए पर सवाल खड़े किए हैं। रेप पीड़िता के पिता ने आरोप लगाया है कि उनकी बेटी ने किसान आर्मी से जुड़े अनिल मलिक और अनूप सिंह के खिलाफ आरोप लगाए थे। लेकिन पुलिस ने अपने मन से बाकी लोगों के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया है। जिनमें से काफी लोगों ने पीड़िता का सहयोग किया और पुलिस में शिकायत भी दर्ज कराई थी।

संयुक्त मोर्चा को क्लीन चिट

पीड़िता के पिता ने इस मामले में संयुक्त मोर्चा को क्लीन चिट देते हुए कहा कि उनकी बेटी की शिकायत के बाद आंदोलन से जुड़े ही लोग मदद के लिए आगे आए थे। उनकी बेटी ने सिर्फ सोशल आर्मी से जुड़े अनूप सिंह चनौत  और अनिल मलिक के खिलाफ आरोप लगाए थे। पुलिस ने अपनी एफआईआर में जिन लोगों का नाम शामिल किया है ,वह मदद की कर रहे थे। एफआईआर में जिन 2 महिलाओं का नाम शामिल किया गया है। वह लगातार पीड़िता की मदद कर रही थी। उन्हीं ने यह मुद्दा उठाया और सोशल आर्मी का टेंट किसान आंदोलन से हटाया था। इस मामले में पीड़िता के पिता ने 8 तारीख को हरियाणा के बहादुरगढ़ पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज कराई थी। जिसमें सिर्फ 2 लोगों के नाम शामिल थे। लेकिन पुलिस ने 6 लोगों को आरोपी बनाया है।

श्चिम बंगाल से आए पीड़िता के पिता ने बताया कि अनूप सिंह चनौत और अनिल मलिक उनकी बेटी को प्रदर्शन स्थल पर से दूर ले गए थे। पीड़िता के पिता ने किसान संयुक्त मोर्चा किसान नेता योगेंद्र यादव का भी जिक्र किया और उनका मदद के लिए आभार जताया।

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उन्होंने कहा कि दोषियों को सजा मिले लेकिन इसकी आड़ में राजनीति ना खेला जाए। भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय अध्यक्ष गुरनाम सिंह चढूनी ने प्रेस वार्ता में बताया कि दरअसल पीड़िता के पिता की एफआईआर नहीं करना चाहते थे। लेकिन संयुक्त किसान मोर्चे के कहने पर ही वे पुलिस के पास गए। संयुक्त मोर्चा ने जानकारी मिलते ही टिकरी बॉर्डर बेटी को दोषियों पर कड़ी कार्रवाई करने के निर्देश दिए थे । उन्होंने कहा कि 3 तारीख को हमने फैसला लिया कि हम पीड़िता के साथ खड़े हैं और उसके आरोपियों को बख्शा नहीं जाएगा ।

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