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अंतराष्ट्रीय महिला दिवस पर 8 साल की लड़की Licypriya Kangujam ने ठुकराया पीएम मोदी का सम्मान

Licypriya Kangujam

Licypriya Kangujam कंगूजाम मणिपुर  की एक बाल पर्यावरण कार्यकर्ता है। साल 2019 में उन्हें डॉक्टर एपीजे अब्दुल कलाम चिल्ड्रन अवॉर्ड ,भारत शांति पुरस्कार और विश्व बाल शांति पुरस्कार से सम्मानित किया गया।

जलवायु परिवर्तन को लेकर काम करने वाली लिंसिपरिया कंगूजाम (Licypriya Kangujam)  ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा अंतराष्ट्रीय महिला दिवस पर दिए जाने वाले सम्मान को ठुकरा दिया है। हालांकि भारत सरकार ने उन्हें प्रेरणा देने वाली महिला बताया है। लिंसिपरिया कंगूजाम ने इस सम्मान पर अपनी नाराज़गी जताई है।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने ट्वीटर एकाउंट पर लिखा था कि सोच रहा हूं फेसबुक ट्विटर इंस्टाग्राम और यूट्यूब सोशल मीडिया छोड़ दूं। जिसके बाद भारत ही नहीं बल्कि पुरे विश्व में ये चर्चा का विषय बन गया था।

पीएम मोदी ने अपने अगले ट्वीट में इस सस्पेंस को दूर करते हुए दूसरा ट्वीट किया था। जिसमें उन्होंने लिखा था विश्व महिला दिवस पर में अपने सोशल मीडिया एकाउंट उस महिला को समर्पित कर दूँगा ,जिनकी जिंदगी और काम से हम सभी को प्रेरणा मिलती है।

जलवायु परिवर्तन को लेकर काम करने वाली 8 साल की लड़की लिंसिपरिया कंगूजाम ( Licypriya Kangujam ) को सरकार ने प्रेरणा देने वाली बताया और उन्हें विश्व महिला दिवस के अवसर पर पीएम मोदी के सोशल मीडिया एकाउंट्स देने की बात कही। लेकिन लिंसिपरिया कंगूजाम ने इस सम्मान पर नाराज़गी जताते हुए कहा कि अगर मेरी आवाज़ को नहीं सुन रहे हो तो कृपया सम्मान न करें।

दरअसल 5 मार्च को भारत सरकार ने लिंसिपरिया कंगूजाम से जुड़ा एक ट्वीट किया। जिसमें लिखा ,” लिंसिपरिया कंगूजाम मणिपुर की एक बाल कार्यकर्ता हैं। साल 2019 में उन्हें डॉक्टर एपीजे अब्दुल कलाम चिल्ड्रन अवॉर्ड ,विश्व बाल शांति पुरस्कार और भारत शांति पुरस्कार से सम्मानित किया गया है। क्या वह प्रेरणादायक नहीं है?

Licypriya Kangujam ने इस ट्वीट का जवाब देती हुए लिखा ,” प्रिय नरेंद्र मोदी जी, अगर आप मेरी आवाज़ नहीं सुन रहे हो तो कृपया मेरा सम्मान न करें। आपकी पहल #SheInspiresUS के तहत देश की प्रेरणादायक महिलाओं में मुझे चुनने के लिए धन्यवाद। कई बार सोचने के बाद मैंने इस सम्मान को ठुकरा दिया है। जयहिंद। ”

आपको बता दे,लिंसिपरिया कंगूजाम काफी समय से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मंत्रियों से जलवायु परिवर्तन पर काफी समय से कानून बनाने की मांग कर रही है। लेकिन उनकी बात नहीं सुनी जा रही है। इसी बात को लेकर वह नाराज़ हैं।

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