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भारतीय सशस्त्र बलों के कईं अधिकारीयों के हनी ट्रैप में फंसने के बाद सेना, नौसेना और एयरफोर्स ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स के इस्तेमाल पर प्रतिबंध लगाया

तीनों भारतीय सेनाओं के कई अधिकारीयों और जवानों के पाकिस्तानी जासूसों द्वारा ऑनलाइन हनी ट्रैप का शिकार होने के बाद भारतीय सेना ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म के इस्तेमाल करने पर बैन लगा दिया है।

तीनों भारतीय सेनाओं के कई अधिकारीयों और जवानों के पाकिस्तानी जासूसों द्वारा ऑनलाइन हनी ट्रैप का शिकार होने के बाद भारतीय सेना ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म के इस्तेमाल करने पर बैन लगा दिया है। जांच में पता चला है कि कुछ व्हाट्सएप ग्रुप के माध्यम से सुरक्षा से जुड़ी जानकारी लीक की गई थी। जिसमें सेना के कुछ अधिकारी और जवान शामिल थे।

पाकिस्तान और चीन के ऑनलाइन जासूस लगातार गुप्त रूप से गोपनीय जानकारी और डाटा प्राप्त करने में लगे हुए हैं। भारतीय सेना ने पिछले कुछ वर्षों में कई बार अपने अधिकारियों और जवानों को ड्यूटी के दौरान व्हाट्सएप सहित कई सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म का इस्तेमाल करने पर रोक लगाई है। भारतीय सेना ने फेसबुक इंस्टाग्राम टि्वटर इत्यादि सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म के इस्तेमाल पर रोक लगाई है।

पिछले कई सालों से भारतीय सेनाओं के अधिकारी और जवान पाकिस्तानी जासूसों के हनी ट्रैप में फंसे है। पाकिस्तानी एजेंट महिला का रूप लेकर सेना के जवानों और अधिकारियों को अपने जाल में फंसाते हैं। यहां तक कि नई दिल्ली में इंडियन एयर फोर्स के हेड क्वार्टर में तैनात एक ग्रुप कैप्टन भी ऑनलाइन हनीट्रैप का शिकार हो चुका है ।

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लगातार भारतीय सेना की सुरक्षा में सेंध को देखते हुए तीनों सेनाओं ने, जिसमें इंडियन आर्मी ,नेवी और एयरफोर्स शामिल है ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म के उपयोग पर बैन लगा दिया है। अब ड्यूटी के दौरान कोई भी जवान फेसबुक , इंस्टाग्राम , व्हाट्सएप ट्विटर आदि सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म का इस्तेमाल नहीं कर सकेंगे। भारतीय नेवी ने युद्धपोतों पर जवानों को स्मार्टफोन ना ले जाने के निर्देश दिए हैं।

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