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‘जय श्रीराम के नारे लगवाए,’ पानी मांगा तो पेशाब पीने को कहा, पीड़ित अब्दुल समद सैफी ने बदला बयान

गाजियाबाद के लोनी में बुजुर्ग की पिटाई और दाढ़ी काटने के मामले में गाजियाबाद पुलिस ने 5 आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है। वही पीड़ित अब्दुल समद सैफी ने अब नया बयान दिया है। जिसमें उन्होंने 'जय श्रीराम' के नारे नारे लगवाने की बात भी कही।

गाजियाबाद के लोनी में बुजुर्ग की पिटाई और दाढ़ी काटने के मामले में गाजियाबाद पुलिस ने 5 आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है। वही पीड़ित अब्दुल समद सैफी ने अब नया बयान दिया है। जिसमें उन्होंने ‘जय श्रीराम’ के नारे नारे लगवाने की बात भी कही।

उत्तर प्रदेश के गाजियाबाद के लोनी में अब्दुल समद सैफी पर हुए हमले के बाद सियासी घमासान तेज हो गया है। इसी बीच समद सैफी का एक और बयान सामने आया है। जिसमें उन्होंने जय श्रीराम के नारे लगवाने, जान से मारने की धमकी, मारपीट और पेशाब पीने तक की बात कही है। समद सैफी ने ताबीज वाली बात को झूठा बताया है।

बुधवार शाम अब्दुल समद सैफी ने अपने बुलंदशहर के अनूपशहर में मीडिया से यह बात कही। सोशल मीडिया पर वायरल हुए वीडियो में बुजुर्ग के साथ मौजूद लोगों पर पुलिस के एक्शन पर सवाल उठ रहे हैं । अब्दुल सैफी ने कहा कि मेरी कनपटी पर पिस्तौल लगाई गई, चार लोग थे, डंडे और बेल्ट से मुझे बहुत पीटा गया, मैं उनको नहीं जानता था।

उन्होंने आगे कहा कि मुझ पर झूठा इल्जाम लगाया जा रहा है। मैं नहीं जानता मारने वाले कोई मुसलमान था या नहीं। ताबीज की बात एकदम झूठी है। मैं ताबीज का कोई काम नहीं करता हूं। मुझ पर पुलिस ने झूठा इल्जाम लगाय है। ऐसा इल्जाम कोई भी लगा सकता है. मैं तो मदरसे में रहता हूं।

पीड़ित बुजुर्ग ने यह भी दावा किया है कि मुझसे जय श्रीराम के नारे लगवाए, पानी मांगा तो मुझे पेशाब पीने के लिए कहा गया। बुजुर्ग के साथ खड़े एक शख्स ने कहा कि इन को मारने के लिए दो बार तमंचा भी चलाया गया। लेकिन फायर मिस हो गया। आखिर पुलिस ने 307 में एफआईआर क्यों दर्ज नहीं की।

आपको बता दें कि इससे पहले बुजुर्ग समद सैफी ने कहा था कि उन्हें पुलिस ने सहयोग दिया था । हालांकि अब उनका यह बयान पहले से काफी अलग है।

दरअसल गाजियाबाद में बुजुर्ग अब्दुल समद सैफी की पिटाई और जबरन दाढ़ी काटने के आरोप को लेकर राजनीतिक घमासान मचा हुआ है ।वहीं, गाजियाबाद पुलिस ने ट्विटर सहित 9 लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की है। उन पर सांप्रदायिक हिंसा भड़काने का आरोप है और वीडियो वायरल करने का आरोप है ।

गाजियाबाद पुलिस ने पहले कहा था कि  अब्दुल समद की पिटाई करने वाले उन उसके द्वारा दिए गए ताबीज से अच्छे परिणाम ना मिलने के कारण खुश नहीं थे। इस वजह से उन्होंने बुजुर्ग की पिटाई की थी।

सुपरिंटेंडेंट ऑफ़ पुलिस रूरल गाजियाबाद डॉ इराज रजा के अनुसार, पुलिस में इस मामले ने 5 आरोपियों को अब तक गिरफ्तार कर लिया है। हम गलत थे बताने के लिए शिकायतकर्ता के खिलाफ भी एक्शन लेंगे ।

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