4pillar.news

हरियाणा : आदमपुर विधानसभा उपचुनाव से पहले डेरा सच्चा सौदा प्रमुख गुरमीत राम रहीम को मिली 40 दिन की पैरोल

अक्टूबर 14, 2022 | by

Haryana: Dera Sacha Sauda chief Gurmeet Ram Rahim gets 40 days parole before Adampur assembly by-election.

रोहतक की सुनारियां जेल में 20 साल की सजा काट रहे डेरा प्रमुख गुरमीत राम रहीम को 40 दिन की पैरोल मिली है। गुरमीत को साल 2017 में सीबीआई कोर्ट ने दो साध्वियों के रेप के आरोप में सजा सुनाई थी।

हरियाणा के रोहतक जिला की सुनारियां जेल में बीस साल की सजा काट रहे गुरमीत राम रहीम सिंह की चालीस दिन की पैरोल अर्जी स्वीकार कर ली गई है। हरियाणा सरकार ने यह फैसला ऐसे समय में लिया है जब आदमपुर विधानसभा में उपचुनाव होने हैं। आदमपुर में तीन नवंबर 2022 को उपचुनाव होने हैं। इससे पहले डेरा पप्रमुख को इसी साल जून महीने में पैरोल पर रिहा किया गया था। और फरवरी महीने में उनकी तीन हफ्ते की फर्लो मंजूर की गई थी।

राज्य जेल मंत्री रंजीत सिंह ने 11 अक्टूबर को आवेदन की जांच की थी। उन्होंने कहा था कि संबंधित अधिकारीयों की तरफ से पैरोल आवेदन की जांच की गई है। क़ानूनी तौर पर फैसला लिया जाएगा। ” बता दें , डेरा प्रमुख गुरमीत सिंह रोहतक की जेल में बंद है। संभावनाएं जताई जा रही हैं कि पैरोल मिलने के बाद वह हरियाणा के सिरसा या राजस्थान के डेरा में रहेंगे। जिसको लेकर पहले से तैयारियां शुरू हो चुकी हैं।

कितनी बार मिली पैरोल ?

साल 2021 में गुरमीत तीन बार पैरोल पर बाहर आया। 2022 में दो बार बाहर रहा।जेल अधिकारीयों के अनुसार गुरमीत इस साल के अंत तक यानि 31 दिसंबर 2022 तक 40  दिनों की पैरोल हासिल कर सकता है। यदि कोई अपराधी जेल में तय वर्ष पुरे कर लेता है तो वह साल में 90 दिन की पैरोल हासिल कर सकता है।

गुरमीत को जेल

गुरमीत राम रहीम सिंह सिरसा आश्रम में अपनी दो अनुयायियों के साथ रेप केस में 20 साल की सजा काट रहा है। उसे साल 2017 में पंचकूला की सीबीआई की विशेष अदालत ने दोषी ठहराया था। सीबीआई के जज ने उन्हें अदालत परिसर में ही गिरफ्तार करने का आदेश दिया था। जिसके बाद उनके अनुयायियों ने काफी हंगामा किया था। पंचकूला में हिंसा भड़क गई थी। इस हिंसा में जानमाल का काफी नुक़सान हुआ था। गुरमीत सिंह को भारी सुरक्षा के बीच रोहतक की सुनारियां जेल में कैद किया गया था।

इसके अलावा गुरमीत सिंह पर वरिष्ठ पत्रकार रामचंद्र छत्रपति और डेरा प्रबंधक रंजीत सिंह की हत्या का आरोप भी साबित हो चूका है। 2019 में उन्हें वरिष्ठ पत्रकार की हत्या का दोषी ठहराया गया था। जबकि 2021 में उन्हें रंजीत सिंह की हत्या का दोषी ठहराया गया था। अदलात ने गुरमीत सिंह को इन सभी मामलों में अलग-अलग धाराओं के तहत सजा दी है।

RELATED POSTS

View all

view all