Hit and Run law: नए कानून हिट एंड रन के खिलाफ देशभर में ट्रक, बस और डंफर ड्राइवर हड़ताल कर रहे हैं। इस कानून के अनुसार, अगर कोई ड्राइवर एक्सीडेंट के बाद घटना स्थल से फरार होता है तो उसे दस साल की जेल और 7 लाख रुपए जुर्माने की सजा दी जाएगी। इससे पहले भारतीय दंड संहिता की धारा 304 के तहत आरोपी को केवल दो साल तक की जेल हो सकती थी।
हिट एंड रन कानून के खिलाफ देश भर में चक्का जाम की स्थिति बनी हुई है। पब्लिक ट्रांसपोर्ट के इस्तेमाल करने वाले लोग घंटो तक बस अड्डों पर इंतजार कर रहे हैं। उन्हें कोई साधन नहीं मिल रहा है। ड्राइवरों की हड़ताल के कारण पेट्रोल-डीजल और सब्जियों की सप्लाई बाधित हो रही है। कई पेट्रोल पंपों पर ईंधन खत्म होने की स्थिति नजर आ रही है। लोग पेट्रोल भरवाने के लिए लंबी-लंबी लाइनों में लगे हुए हैं।
ड्राइवरों की हड़ताल
दरअसल, हाल ही में केंद्र सरकार ने हिट एंड रन को लेकर नए कानून बनाए हैं। जिसके तहत अगर कोई बस,ट्रक या डंपर ड्राइवर किसी को कुचल का भागता है तो उसे दस साल की जेल हो सकती है। इसके अलावा उसे 7 लाख रुपए का जुर्माना भी देना होगा। इससे पहले कुछ दिनों में ही आरोपी ड्राइवर को जमानत मिल जाती थी और वह जेल या हवालात से बाहर आ जाता था।
पहले दो साल तक की सजा का प्रावधान था जो अब बढ़कर 10 साल हो गया है। हालांकि, अगर ड्राइवर घायल को एक्सीडेंट के बाद अस्पताल पहुंचाता है तो उसे कुछ रियायत मिल सकती है। केंद्र सरकार के इसी नए कानून खिलाफ देश भर में ट्रक ड्राइवर हड़ताल कर रहे हैं। देश के दस राज्यों में हड़ताल का असर देखने को मिल रहा है। महाराष्ट्र,राजस्थान, मध्य प्रदेश और उत्तर प्रदेश सहित दस राज्यों में ट्रक ड्राइवर हड़ताल कर रहे हैं।
क्या है हिट एंड रन कानून ?
पहली एक्सीडेंट होने बाद ड्राइवरों के खिलाफ IPC की धारा 279 ( लापरवाही से वाहन चलाने ), 304 ए और 338 के तहत केस दर्ज किया जाता था। लेकिन अब नए कानून के तहत आरोपी के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 104(2 ) के तहत मामला दर्ज होगा। आरोपी को घटना स्थल से भागने पर दस साल तक की सजा देने का प्रावधान होगा। इसके अलावा अगर ड्राइवर घटना की जानकारी पुलिस या मजिस्ट्रेट को नहीं देता है तो उसे 10 साल की जेल और 7 के जुर्माने की सजा दी जा सकती है।
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